बाजार भविष्य रिपोर्ट 20 मार्च 2024: किसान साथियों कमोडिटी बाजार में गेहूं, सरसों, चावल, मक्की, बाजरा, सोयाबीन, अरंडी तेल व बिनौला खल के भाव को लेकर मार्केट के एक्सपर्ट आने वाले दिनों में तेजी मंदी को लेकर क्या अनुमान लगा रहा है? आइये जाने…
गेहूं मंदे की संभावना
गत सप्ताह मध्य प्रदेश की मंडियों में नए गेहूं की आवक बढ़ गई, जिस कारण सप्ताह के उत्तरार्ध में 70/75 रुपए प्रति क्विंटल की क्वालिटी अनुसार माल में यहां गिरावट दर्ज की गई। जो गेहूं ऊपर में मिल क्वालिटी यहां 2750 बिका था, उसके भाव 2675 रह गए तथा नया गेहूं एमपी का 2650 रुपए में दिल्ली पहुंच में बेचू आ गए, लेकिन फसल बढ़िया एवं आवक के दबाव को देखते हुए मिल वालों ने खरीद रोक दिया, इसे देखते हुए चालू सप्ताह में 50-75 की और गिरावट आ सकती है। आने वाली फसल का उत्पादन 1120.7 लाख में कितना होने का सरकारी अनुमान आ रहा है।
सरसों में तेजी नहीं
देश की विभिन्न मंडियों में सरसों की आवक 15 लाख बोरी के लगभग दैनिक होने तथा तेल मिलों की मांग घटने से लारेंस रोड पर सरसों के भाव 50 रूपये घटकर 5200/5250 रुपए प्रति क्विंटल रह गए। नजफगढ़ में सरसों के भाव लूज 4800/4900 रुपए प्रति कुंटल बोले गए। आगरा में इसके भव 5750 रुपए प्रति क्विंटल बोले गए। भविष्य में इसमें और अधिक तेजी की उम्मीद नहीं है।
चावल निर्यात मांग में सुधार
हम मानते हैं कि घरेलू एवं निर्यात दोनों ही मांग बासमती प्रजाति के सभी चावल में अनुकूल नहीं है, लेकिन धीरे-धीरे राइस मिलों का स्टॉक मंदे भाव में निकलता जा रहा है तथा मंडियों में धान की आपूर्ति टूट गई है। जो स्टॉक में पड़ा है, उन मालों को और घटाकर कारोबारी बिकवाल नहीं हैं। आज की तारीख में चीका सफीदों करनाल तरावड़ी कैथल असंद लाइन में मिलिंग करने पर घर से 260/270 रुपए प्रति कुंटल का नुकसान लग रहा है तथा मिलों में जो धान सीजन के ऊंचे भाव के स्टाक किए हुए हैं, उसमें ब्याज भाड़ा लगाकर बहुत घाटा है। दूसरी ओर अब पाकिस्तान से भी ज्यादा सस्ता निर्यात नहीं हो रहा है, इन परिस्थितियों में जो चावल सेला 1509 क्वालिटी का 6550/6650 रुपए बोल रहे हैं, इसमें घटने की बिल्कुल गुंजाइश नहीं है। इसी तरह अन्य बासमती प्रजाति में भी मंदा समाप्त समझना चाहिए।
मक्की अब तेजी का समय नहीं
मक्की की फसल बिहार में लगभग तैयार होने वाली है, बिजाई चौतरफा अधिक है, क्योंकि वहां थोक में बीज बिक्रेताओं का कहना है कि गत वर्ष के समान अवधि की तुलना में हमारी प्रत्येक दुकानों पर बीज की बिक्री में 15-17 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। वास्तविकता यह है कि बीज वाली हाइब्रिड मक्की के भाव ऊंचे होते हैं तथा बिजाई क्षेत्र अधिक होने से किसानों की खरीद बहुत बढ़िया रही है। उधर बोई हुई फसल खेतों में बहुत ही बढ़िया है, मकई के ऊंचे भाव देखकर किसानों ने चौतरफा बिजाई अधिक किया है तथा अब खगड़िया बेगूसराय गुलाब बाग दरभंगा लाइन में मक्की तैयार होने वाली है। आगे 10-12 दिन में कटाई शुरू हो जाएगी, इस वजह से स्टॉक के माल मध्य प्रदेश के कारोबारी घटाकर बेचने लगे हैं, जिससे हरियाणा पंजाब पहुंच में 2550/2575 रुपए पर 50 रुपए की एक सप्ताह में गिरावट आ गई है तथा आने वाले समय में बाजार अभी और घट जाएगा। दिल्ली में भी गोदाम से उठू इसी अनुपात में घटाकर बिकवाल आने लगे हैं।
बाजरा वर्तमान भाव में खरीदिए
बाजरे की फसल अक्टूबर माह में आकर लगभग आवक घट गई है। फिलहाल मुनाफा वसूली बिकवाली से पिछले सप्ताह तक बाजार दबा हुआ था, लेकिन मकई में खपत बढ़ने तथा उत्पादक मंडियों में आवक घट जाने से माल के अभाव में 2390/2400 रुपए प्रति क्विंटल तक हरियाणा पंजाब पहुंच में बोलने लगे हैं। वास्तविकता यह है कि खाद्यान्नों में सबसे सस्ता होने से घरेलू खपत के अलावा डिस्टिलरी प्लांटों में मांग बढ़ गई है, इन परिस्थितियों में अभी बाजार और बढ़ सकता है।
सोयाबीन लंबी तेजी नहीं
आने वाले छ:-सात दिनों में सोयाबीन में लंबी तेजी का अनुमान नहीं है। प्लांटों की मजबूत लिवाली निकलने से गत सप्ताह जलगांव में सोयाबीन 250 रुपए उछलकर 4800 रुपए प्रति क्विंटल के स्तर पर जा पहुंचा। इससे पूर्व इसमें 100 रुपए की मंदी आई थी। निवेशकों की लिवाली कमजोर पड़ने से शिकागो का प्रोजेक्शन 25 प्वाईंट माइनस में होने जबकि केएलसीई के सक्रिय तिमाही पाम तेल वायदा में 22 रिंगिट प्रति टन की तेजी आने की सूचना मिली। इससे बाजार की धारणा प्रभावित हो सकती है। आगामी हफ्ते में हाजिर में सोयाबीन में लंबी तेजी का अनुमान नहीं है।
बिनौला खल मंदा नहीं
पशु आहार वालों की मांग निकलने तथा निचले स्तर पर बिकवाली घटने से बिनौला खल के भाव के भाव 50 रूपये बढ़कर 3000/3200 रुपए प्रति क्विंटल पर मजबूत रहे। पंजाब की मंडियों में इसके भाव 3050/3150 रुपए प्रति कुंतल बोलें गए। सटोरिया की लिवाली से से बिनौला खल वायदा अप्रैल डिलीवरी 5 रूपये बढकर 2635 रूपये प्रति क्विंटल रह गया। आने वाले दिनों में इसमें गिरावट की उम्मीद नहीं है।
अरंडी तेल : गिरावट की उम्मीद कम
पेंट निर्माताओं की मांग निकलने तथा आपूर्ति घटने से अरंडी तेल के भाव 12700/12800 रुपए प्रति क्विंटल बोले गए। अहमदाबाद में इसके भाव 12200 रुपए प्रति कुंतल बोले गए। राजस्थान की मंडियों में अरंडी के भाव 5800/5850 रूपये प्रति क्विंटल पर मजबूत रहे। हालांकि सटोरियों की लिवाली घटने अरंडी वायदा अप्रैल डिलीवरी 5 रूपये घटकर 5892 रूपये प्रति क्विंटल रह गया। आपूर्ति व मांग को देखते हुए इसमें मंदे संभावना कम है।
डिस्क्लेमर – व्यापार खुद के विवेक से करें। उपरोक्त जानकारी ई मंडी रेट्स द्वारा नहीं लिखी गई है, ये जानकारी हमने सामान्य जानकारी के लिए किसानों तक पहुँचाने के लिए प्रकाशित की है। किसी भी प्रकार के नफे या नुकसान (nafa nuksan) की हमारी कोई जिम्मेदारी नहीं होगी।