चना का भविष्य 2024: देसी चने में तेजी की उम्मीद, देखें आज 1 मार्च के ताजा भाव

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चना का भविष्य 2024: देसी चने की फसल में पोल आ गई है, क्योंकि उक्त चारों राज्यों में उत्पादकता कम बैठ रही है। मध्य प्रदेश एवं राजस्थान में बिजाई कम हुई है, इन परिस्थितियों में 200 रुपए की और तेजी लग रही है तथा राजस्थान का नया माल आने पर ही एक बार मंदा आएगा, लेकिन 6100 रुपए का घर तोड़ना मुश्किल लग रहा है।

महाराष्ट्र के अकोला जलगांव लाइन में देसी चने की आवक नहीं बढ़ पा रही है तथा जलगांव एवं पुणे लाइन की दाल मिलें वर्तमान भाव में सूखे चने खरीद कर रही है, जिससे महाराष्ट्र से बाहर के पड़ते काफी महंगे लग रहे हैं।

यद्यपि सरकार द्वारा तरह-तरह की सस्ते भाव में बिक्री की किये जाने से दलहनों की तेजी पर काबू पाया  जा चुका है, लेकिन मौसम की प्रतिकूलता, पुराने मालों की कमी एवं इसकी बिजाई में कमी आने से सकल उत्पादन में कमी की संभावना प्रबल हो गई है।

वर्तमान में महाराष्ट्र के अकोला जलगांव खामगांव के साथ-साथ गुजरात आंध्र प्रदेश कर्नाटक सभी राज्यों में मौसम पहले गर्म हो जाने से फसल आ चुकी है, लेकिन मड़ाई के बाद उत्पादकता में 7 से 8 प्रतिशत की कमी की खबरें आ रही हैं। दूसरी ओर पाइप लाइन में पुराना माल नहीं है, जिससे बाजार यहां धीरे-धीरे तेज होने लगे हैं।

गत दो दिनों के अंतराल इसमें 100 रुपए बढ़कर आज 6150/6160 रुपए राजस्थानी चना लॉरेंस रोड पर बिक गया। उत्पादक मंडियों से माल कम आ रहा है, क्योंकि भाड़े महंगे हो जाने से पड़ते नहीं लग रहे हैं। इन कारणों से इसी लाइन पर 150/200 रुपए प्रति क्विंटल की और तेजी के आसार बन रहे हैं।

मार्च में मध्य प्रदेश के चने का बढ़ना मुश्किल लग रहा है, अप्रैल में राजस्थान के चने की आवक होने लगेगी, उस स्थिति में एक बार फिर 6000 रुपए प्रति क्विंटल नीचे में चना बिक सकता है, लेकिन इससे नीचे जाने की गुंजाइश नहीं दिखाई देती है। अभी तक महाराष्ट्र मध्य प्रदेश आंध्र प्रदेश कर्नाटक में कटाई मलाई के बाद प्रति हैक्टेयर उत्पादकता को देखते हुए देसी चने का उत्पादन 77-78 लाख मीट्रिक टन से अधिक बैठने का अनुमान नहीं है। गत वर्ष 100 लाख मीट्रिक टन उत्पादन हुआ था।

बाज़ार के जानकारों का मानना है कि सरकार द्वारा ऊंचे भाव में किसानों से माल खरीद कर मंदे भाव में चने की दाल बेचा जा रहा है, जिस वजह से महंगाई नियंत्रित है, लेकिन अंतर्राष्ट्रीय बाजारों में चने के ऊंचे भाव होने तथा पुराना स्टॉक मंडियों में नहीं होने से देसी चने में चालू वर्ष के दौरान अच्छी तेजी लग रही है, लेकिन सीजन में एक बार मंदा रहना चाहिए।

आईए जाने प्रमुख मंडियों में चने के भाव क्या रहे

अहमदनगर मंडी
देसी चना 5600 +200

गंजबसोदा मंडी
चना 5300/5800 +100
आवक 200 क्विंटल

गदरवाड़ा मंडी
चना 5200/5700  -100
आवक 100 बोरी

जालना मंडी
नया चना 5350/5750 +50
आवक 1500 बोरी

पिपरिया मंडी
नया चना 5200/5790 +15
आवक 1000 बोरी

गंजबसोदा मंडी
चना 5300/5800 +100
आवक 200 बोरी

भाटापारा मंडी
चना 5500/5600  -100
आवक 40 बोरी

जोधपुर मंडी
चना 4700/5550 +100
आवक 200 कट्टा

हरदा मंडी
चना 5000/5400 +100
आवक 1000 बोरी

दुधनी मंडी
चना 5800/6200  -100
आवक 200 बोरी

अशोकनगर मंडी
चना 5600/5700
आवक 200 क्विंटल

राजकोट मंडी
नया चना 5000/6150
आवक 5000

महोबा मंडी
चना 5000/5650
आवक 200/250 कट्टे

अलिराजपुर मंडी
चना 5600

जोबट मंडी
चना 5700

महोबा मंडी
चना 5800/5900

अमरावती मंडी
नया चना 5600/6060
आवक 3000/4000 बोरी

उज्जैन मंडी
काबुली चना 8000/10500
आवक 50 बोरी

बार्शी मंडी
चना 5500/5600
आवक 1000 बोरी

बीना मंडी
चना 5000/5500
आवक 100 बोरी

कोटा मंडी
चना 5500
आवक 20/30 कट्टा

बारां मंडी
चना 5000/5800
आवक 350 कट्टा

खिरकिया मंडी
चना 5200/5450
आवक 4000 बोरी

दर्यापुर मंडी
चना 5400/6250
आवक 8000 बोरी

शिरपुर मंडी
चना 5300/5600
आवक 400 बोरी

इटारसी मंडी
चना 5000/5500
आवक 20 बोरी

खामगांव मंडी
नया चना 4500/5700
आवक 4000 बोरी

सागर मंडी
चना 5500/5800
आवक 200 बोरी

उदगीर मंडी
चना 5700/5900
आवक 2000 कट्टा

खुरई मंडी
चना 5000/5700
आवक 50 बोरी

विदिशा मंडी
चना 5200/5800
आवक 400 बोरी

अलवर मंडी
चना 5750/5800
आवक 00 कट्टे

मुर्तिजापुर मंडी
नया चना 5200/6150
आवक 4000 बोरी

सुमेरपुर मंडी
चना 5250/5350
आवक 500 बोरी

राठ मंडी
चना 5200/5700
आवक 50/100 बोरी

हिंगणघाट मंडी
नया चना 5200/5700
आवक 10000 बोरी

Disclaimer : Chana Bhav 1 March 2024 यहां दिए गए चने के रेट व्यापारियों ( Broker ) व अन्य स्रोतों के मुताबिक उपलब्ध कराए गए हैं। भाव में क्वालिटी अनुसार मामूली उतार-चढ़ाव देखने को मिल सकता है। व्यापार अपने विवेक से करें। धन्यवाद

नमस्कार दोस्तों, मेरा नाम जगत पाल पिलानिया है ! मैं ई मंडी रेट्स (eMandi Rates) का संस्थापक हूँ । मेरा उद्देश्य किसानों को फसलों के ताजा मंडी भाव, कृषि विभाग द्वारा संचालित योजनाओं के साथ-साथ अन्य महत्वपूर्ण जानकारी पहुंचाना है। ई-मंडी रेट्स (e-Mandi Rates) देश का पहला डिजिटल प्लेटफॉर्म है, जो बीते 5 सालों से निरन्तर किसानों के हितों में कार्य कर रहा है।

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