कृषि व्यापार समाचार : पिछले सप्ताह सोमवार को जयपुर कंडीशन सरसों का रेट 5850 रुपये पर खुला जो शनिवार शाम 5900 रुपये पर बंद हुआ। पिछले सप्ताह के दौरान सरसो में मांग बनी रहने से +50 रुपये प्रति क्विंटल की मज़बूती देखने को मिली।
मीलों की सामान्य मांग, आवक कमजोर होने से सरसो के भाव बीते सप्ताह तकरीबन स्थिर रहे वहीं कमजोर मांग और अन्य तेलों में नरमी से सरसो तेल के भाव में हलकी गिरावट रही। खल की निर्यात और घरेलू मांग मजबूत रहने से इसमें 60-70 रुपये/क्विंटल की बढ़ोतरी आयी।
अन्य खल की तुलना में भाव कम होने और डीओरबी के निर्यात पर प्रतिबंद से सरसों खल की मांग मजबूत। एक्सपोर्ट सौदे की भरपाई के लिए ऊंचे दाम पर भी मांग अच्छी वहीं क्रशिंग कमजोर पड़ने खल की स्टॉक सिमित है।
दैनिक आवक की आंकलन के अनुसार अगस्त महीने में 5.5 लाख टन सरसो की आवक दर्ज की गयी। आधिकारिक आंकड़े अगले 1-2 दिन आने की उम्मीद है । सोया और पाम तेल के साथ भारी अंतर से सरसो तेल की मांग कमजोर, सोया और पाम तेल की भरपूर स्टॉक होने की वजह से इसमें दबाव बना हुआ है। जिसके चलते सरसों तेल में भी उठाव नहीं अक्टूबर से सरसो तेल की खपत बढ़ती है। जिसके चलते मांग के सुधार देखने को मिलेगी।
भारत में आने वाले समय में 5 राज्यों में विधानसभा चुनाव है वहीं अगले वर्ष लोकसभा चुनाव है। कमजोर मानसून से खाद्यान पदार्थों के कीमतों में बढ़ोतरी को रोकने के लिए सरकार सक्रिय है, यही कारण है की सरकार अब तक सरसो की बिकवाली रोक रखी है ताकि सही समय पर इसका उपयोग कर सकें।
सरकार अभी बिकवाली कर देगी तो बचे हुए महीनो में भाव को नियंत्रित कर पाना उसके लिए मुश्किल हो जाएगा। सरसो में फ़िलहाल बड़ी तेजी मंदी नहीं दिखेगी लेकिन दिवाली के पहले एक उछाल देखने को मिल सकता है। मौजूदा स्तरों से जयपुर सरसो में 6050 का रेजिस्टेंस है जिसके ऊपर टिकने पर ही आगे की तेजी दिखेंगी।
डिस्क्लेमर:
Mustard Price Report: कृपया व्यापार अपने स्वयं के विवेक से करें। हमारा उद्देश केवल किसानों तक जानकारी पहुँचाना है। किसी भी प्रकार के नफे या नुकसान (nafa nuksan) की हमारी कोई जिम्मेदारी नहीं होगी।