ताज़ा खबरें:

सरसों साप्ताहिक तेजी मंदी समीक्षा (31 अक्टूबर): सरसों में फिर बन सकती है तेजी ! क्या कहते है एक्सपर्ट देखें ये रिपोर्ट

Jagat Pal

Google News

Follow Us

WhatsApp Group Join Now
WhatsApp Channel Join Now

सरसों साप्ताहिक तेजी मंदी रिपोर्ट 31 अक्टूबर 2022 (Sarso Teji Mandi Report) : बीते सप्ताह सोमवार को जयपुर सरसों के भाव (Mustard Price) 6725 रुपये पर खुला था ओर शनिवार शाम 6825 रुपये पर बंद हुआ। बीते सप्ताह के दौरान सरसों में प्लांट बालो की मांग बनी रहने सें +100 रुपये कुन्टल मजबूत दर्ज हुआ।

कृषि मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार 28 अक्टूबर तक लगभग 19 लाख हेक्टेयर में सरसो की बुवाई पूरी हुई पिछले वर्ष की सामान अवधि की तुलना मैं बुवाई 33.65% बढ़ गया है। बुवाई के दौरान मुख्य उत्पादक राज्यों में बारिश के चलते बुवाई में देरी हुई थी। जिसको देखकर जानकारों का मानना है की सरकारी आंकड़ा थोड़ा बढ़ा चढ़ा के दिखाया गया है। बुवाई की सही स्थिति जानने के लिए अभी कुछ सप्ताह और रुकने की जरुरत।

सरसो के भाव इस सप्ताह सिमित घट बढ़ के चलते लगभग स्थिर रहे। दिवाली की छुट्टियों के कारण सरसो की मांग और सप्लाई दोनों ही सामान्य से कम रहा। सप्ताह के अंत तक काफी मंडियां खुली जिसके चलते आवक में बढ़ोतरी दर्ज की गयी। जयपुर सरसो अक्टूबर की शुरुआत से अब तक लगभग 725 रुपए/क्विंटल बढ़ चूका है। आगे की तेजी मंदी अगले सप्ताह बिकवाली और आवाक की स्थिति देखकर समझ आएगा।

सरसो तेल का अंतर सोया तेल के साथ 11 रूपए/किलो जबकि पिछले वर्ष इस समय अंतर 40 रुपये/किलो से ऊपर था। अंतर कम होने से सरसो तेल की डिमांड बनी रहेगी। ठण्ड के मौसम में सरसो तेल की खपत अच्छी रहती है, जिसके चलते जानकर सरसो और सरसो तेल में अधिक मंदी में नहीं । लेकिन निचले स्तर से 500/600 रूपए क्विंटल बढ़ने के बाद कुछ मुनाफावसूली आ सकती है।

जयपुर सरसो के चार्ट के अनुसार 7000 एक रेजिस्टेंस का काम कर रहा है, जिसके ऊपर टिकने पर ही आएगी तेजी जारी रहेगी

बुवाई की रफ़्तार विदेशी बाजारों की उठा पटक से सरसो में भी आगे चलके दो तरफ़ा कारोबार होने का अनुमान ।आगे मौसम की अनिश्चितता से फसल पर पड़ने वाले प्रभाव से नवंबर अंत और दिसंबर मध्य में फिर एक उछाल की उम्मीद।

रूस ने यूक्रेन के साथ हुआ अनाज समझौता निलंबित किया

रूस ने यूक्रेन से अनाज निर्यात डील को निलंबित किया जानकारों का मानना है की इस कदम से अनाज और खाद्य तेलों की सप्लाई प्रभावित होगा। सप्लाई प्रभावित होने से अनाज और खाद्य तेलों की कीमतों में बढ़त का अनुमान।

भारत की तरफ से दिवाली के बाद डिमांड कमजोर पड़ने से बीते सप्ताह केएलसी में 2.8% की गिरावट। सप्ताह के अंत में सीबीओटी सोया तेल और चीन के बाजार में कमजोरी ने केएलसी पर दबाव डाला, मलेशिया पाम उत्पदाकों के फॉरवर्ड सौदे मौजूदा महीने के सौदे से ऊँचे हैं।

मलेशिया में पाम तेल उत्पादन आगे चलके कमजोर पड़ने का अनुमान, मलेशिया पाम तेल के भाव फ़िलहाल सीबीओटी सोया तेल से 590$ / टन से अधिक वहीं ब्राजील सोया तेल से 380$ और अर्जेंटीना से 410$ ऊपर घरेलु बाजार में भी पाम तेल का अंतर सोया तेल के साथ लगभग 35 रुपए/किलो चल रहा है।

बड़े अंतर के चलते पाम तेल को मिलेगा सहारा पिछले सप्ताह छुटियों के चलते डिमांड धीमा रहा। जिसके चलते पॉम तेल में के भाव ऊपरी स्तरों से फिसले ।

रूस द्वारा अनाज निर्यात सौदे को रद्द करने के बाद अब इंडोनेशिया की लेवी छूट की खबर का इंतज़ार। अगर इंडोनेशिया ने एक्सपोर्ट लेवी पर चल रही छूट को आगे भी जारी रखा तो पाम तेल पर दबाव बनेगा और अगर इस छूट को अक्टूबर के अंत में खत्म कर दिया तो पाम तेल के लिए सहायक रहेगा।

पाम तेल अक्टूबर महीने में अच्छी बढ़त के बाद डिमांड को लेकर अनिश्चितता को देखते हुए फ़िलहाल व्यापारियों को रेडी रेडी व्यापर करने की सालाह।

इसे भी पढ़े : किसानों के लिए खुशखबरी: सरकार ने GM सरसों की खेती को दी मंजूरी

नमस्ते! मैं जगत पाल ई-मंडी रेट्स का संस्थापक, बीते 7 साल से पत्रकारिता कर रहा हूं। मुझे खेती-किसानी, मंडी भाव की जानकारी में महारथ हासिल है । यह देश का पहला डिजिटल कृषि न्यूज़ प्लेटफॉर्म है, जो बीते 5 सालों से निरन्तर किसानों के हितों में कार्य कर रहा है। किसान साथियों ताजा खबरों के लिए आप हमारे साथ जुड़े रहिए। धन्यवाद

Leave a Comment

WhatsApp Group Join Now
WhatsApp Channel Join Now