Rail Roko Andolan (Farmers Protest Day 3 Update): पंजाब और हरियाणा के किसानों द्वारा सरकार से अपनी मांगें मनवाने के लिया आंदोलन का रखा है, वो दिनों दिन उग्र होता जा रहा है। साथ ही इस किसान आंदोलन में राजस्थान यूपी समते कुछ अन्य राज्यों के किसानों ने भी भाग लेना शुरू कर दिया है। आज गुरुवार 15 फरवरी को किसान आंदोलन 2.0 का तीसरा दिन है। किसान लगातार दिल्ली में घुसने की कोशिश कर रहे है। लेकिन सरकार द्वारा दिल्ली की सभी सीमाओं की मजबूत किलेबंदी कर रखी है ताकि किसानों को दिल्ली में घुसने से रोका जा सके।
2 दिन से शंभू बॉर्डर पर तनाव की स्थिति
बीते 2 दिन से पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर जमकर बवाल हो रहा है।बता दें कि कल भी (14 फरवरी) किसानों को पुलिस ने दिल्ली कूच से रोका तो किसानों ने पुलिस पर पथराव कर दिया। जिसके बाद पुलिस फ़ोर्स द्वारा उन पर लाठीचार्ज और आंसू गैस के गोले छोड़े जा रहे है, इससे स्थिति और भी ज़्यादा विकराल होती जा रही है। हालांकि आज केंद्र सरकार की किसान संगठनों के बीच तीसरे दौर की बातचीत होनी है ताकि संवाद से किसानों की मांगों का हल निकाला जा सके।
जानकारी के लिए आपको बता दें कि टिकरी-सिंघु और झरोदा बॉर्डर की सीमाएं पूरी तरह सील कर दी गई हैं ताकि किसान अपने ट्रैक्टर और ट्रॉली से दिल्ली में एंट्री ना कर सके। वहीं यूपी के साथ लगने वाले चिल्ला-गाजीपुर बॉर्डर को भी सील कर दिया गया है। दिल्ली पुलिस की तरफ से एंट्री-एग्जिट पॉइंट्स पर बैरिकेड्स, लोहे की कीलें और कंक्रीट के बैरिकेड्ट लगा दिए गए हैं।
रेलवे ट्रैक जाम करने का ऐलान Rail Roko Andolan
इस बीच किसान संगठन भारतीय किसान यूनियन उग्रहा ने किसानों को दिल्ली जाने रोकने और उन पर लाठीचार्ज और आंसू गैस के गोले छोड़ने से नाराजगी जताते हुए आज 15 फरवरी को रेल रोकने (Rail Roko Andolan) का ऐलान किया है। पंजाब में दोपहर 12 बजे से शाम के चार बजे तक रेलवे ट्रैक जाम किए जाएँगे। किसानों के इस फ़ैसले ने ट्रेन में सफर करने वाली आम जनता की भी मुसीबत बढ़ा दी है। साथ ही आज टोल प्लाजा को 4 घंटे तक फ्री करने का भी ऐलान किया गया है।
इन 4 रूट पर दिखेगा रेल रोको का असर
इन 4 रूट पर रेल रोको अभियान रेल रोको का खास असर चार रूट पर देखने को मिलेगा। इसमें बठिंडा/बरनाला रूट, लुधियाना/जाखल/दिल्ली रूट, राजपुरा/ दिल्ली रूट औऱ अमृतसर/फतेहगढ़ साहिब रूट शामिल हैं।
किसानों की ये मुख्य माँगें जिनको लेकर किसान एक बार आंदोलन कर रहे रहे।
