अरहर का भाव और तेजी मंदी रिपोर्ट

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Arhar ka Bhav Teji Mandi Report: नीचे से शुक्रवार को अरहर एवं उड़द की कीमतों में सुधार आया, जबकि स्टॉकिस्टों की खरीद से मूंग के दाम तेज हो गए। इस दौरान चना एवं मसूर की कीमतें स्थिर बनी रही। व्यापारियों के अनुसार बर्मा में दाम कमजोर होने के बावजूद भी घरेलू बाजार में लेमन अरहर के भाव में सुधार आया, हालांकि देसी अरहर में मिलाजुला रुख रहा। अरहर दाल में ग्राहकी सामान्य की तुलना में कमजोर है, जिस कारण दाल मिलें जरुरत के हिसाब से ही खरीद कर रहे। रही हैं। उत्पादक राज्यों में देसी अरहर की आवक बढ़ी है, साथ ही अफ्रीकी देशों के एव बर्मा से भी लेमन अरहर का आयात हो रहा है, इसलिए अरहर की कीमतों में हल्का सुधार तो आ सकता है, लेकिन अभी बड़ी तेजी के आसार नहीं है।

कर्नाटक की गुलबर्गा मंडी में नई अरहर की आवक 13,000 क्विंटल बोरियों की हुई तथा इसके भाव 6800 से 7200 रुपये प्रति क्विटल स्थिर पर रहे। मंडी में नये चना की आवक 1,800 बोरियों की हुई, तथा नए चना का व्यापार 4,600-4,800 रुपये प्रति क्विंटल की दर पर हुआ । महाराष्ट्र की लातूर मंडी में नई अरहर के भाव 50 रुपये कमजोर होकर भाव 7,100-7,200 रुपये प्रति क्विंटल रहे।

दाल मिलों की मांग बनी रहने से दिल्ली में बर्मा की लेमन अरहर के भाव 25 रुपये बढ़कर 7250 से 7275 रुपये प्रति क्विंटल हो गए। इस दौरान चेन्नई में लेमन अरहर के भाव 25 रुपये तेज होकर 6850- 6875 रुपये प्रति क्विंटल हो गए। मुंबई में लेमन अरहर के दाम 25 रुपये तेज होकर 6825 रुपये प्रति क्विंटल पर पहुंच गये।

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मुंबई में अफीकी देशों से आयातित अरहर के दाम स्थिर बने रहे। सूडान से आयातित अरहर के दाम 7150 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर हो गए। इस दौरान मोजाम्बिक लाइन की गजरी अरहर की कीमतें 5750 रुपये प्रति क्विटल बोली गई। तंजानिया की अरुषा अरहर के दाम 6000-6050 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर स्थिर हो गए। मटवारा की अरहर के दाम 5650 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर हो गए। इस दौरान मलावी से आयातित अरहर के दाम भी 5350-5400 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर बने रहे।

नमस्कार दोस्तों, मेरा नाम जगत पाल पिलानिया है ! मैं ई मंडी रेट्स (eMandi Rates) का संस्थापक हूँ । मेरा उद्देश्य किसानों को फसलों के ताजा मंडी भाव, कृषि विभाग द्वारा संचालित योजनाओं के साथ-साथ अन्य महत्वपूर्ण जानकारी पहुंचाना है। ई-मंडी रेट्स (e-Mandi Rates) देश का पहला डिजिटल प्लेटफॉर्म है, जो बीते 5 सालों से निरन्तर किसानों के हितों में कार्य कर रहा है।

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